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सपा और कांग्रेस नेतृत्व हिंसा पर मौन, बांग्लादेश में हिंदू संतों के उत्पीड़न पर भी चुप: डॉ. राजेश्वर सिंह

सपा और कांग्रेस नेतृत्व हिंसा पर मौन, बांग्लादेश में हिंदू संतों के उत्पीड़न पर भी चुप, डॉ. राजेश्वर सिंह,
  • डॉ. राजेश्वर सिंह ने कांग्रेस और सपा पर हिंदू विरोधी सेक्युलरिज्म का आरोप लगाया और उनके दोहरे मापदंडों की आलोचना की।
  • उन्होंने बांग्लादेश में हिंदू संतों के उत्पीड़न पर कांग्रेस और सपा की खामोशी पर सवाल उठाया।
  • डॉ. सिंह ने बहराइच, कानपुर, और पालघर की घटनाओं के दौरान कांग्रेस और सपा के नेताओं की उदासीनता पर तीखा हमला किया।
  • डॉ. सिंह ने कांग्रेस और सपा की वोट बैंक राजनीति पर आरोप लगाया और कहा कि ये पार्टियाँ हिंदू विरोधी राजनीति कर रही हैं।
  • बांग्लादेशी हिंदुओं के पक्ष में जन जागरूकता फैलाने के लिए डॉ. सिंह ने जन आक्रोश यात्रा निकालने के साथ ही सभी राजनीतिक-सामाजिक संगठनों से समर्थन की अपील की।

लखनऊ, 05 दिसम्बर 2024: सरोजनीनगर के भाजपा विधायक डॉ. राजेश्वर सिंह ने बांग्लादेश में हिंदुओं के खिलाफ हो रहे उत्पीड़न और विपक्षी दलों की चुप्पी पर कड़ा रुख अपनाया है। उन्होंने कांग्रेस और समाजवादी पार्टी (सपा) पर हिंदू विरोधी “सेक्युलरिज्म” अपनाने का आरोप लगाया है। बांग्लादेश में हिंदू संतों और अल्पसंख्यक हिंदुओं के साथ हो रहे अत्याचारों को लेकर डॉ. सिंह ने कांग्रेस और सपा नेताओं की खामोशी पर सवाल उठाए।

डॉ. सिंह ने अपनी सोशल मीडिया पोस्ट में कांग्रेस पार्टी को घेरते हुए लिखा कि यह पार्टी हिंदू विरोधी मानसिकता का प्रतीक बन चुकी है, जो हिंदू धर्म और उसकी आस्थाओं का अपमान करने में संकोच नहीं करती। उन्होंने उदाहरण देते हुए कहा कि जब बांग्लादेश में हिंदू संतों के खिलाफ हमले हो रहे थे, तब कांग्रेस और सपा के नेताओं ने इस पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी। इसके विपरीत, ये पार्टियाँ ऐसे मुद्दों पर अपने मुंह बंद रखती हैं और केवल आतंकवादियों के लिए संवेदनाएँ व्यक्त करती हैं।

डॉ. सिंह ने बहराइच, कानपुर, और पालघर की घटनाओं का हवाला देते हुए कांग्रेस और सपा नेताओं की चुप्पी पर सवाल उठाया। उन्होंने कहा, “जब दुर्गा प्रतिमा विसर्जन के दौरान राम गोपाल मिश्रा की गोली मारकर हत्या कर दी गई, तो बहराइच का रास्ता क्यों नहीं दिखा? क्या इसलिए नहीं गए क्योंकि हत्या एक हिंदू की हुई थी?” उन्होंने आगे कहा कि कोलकाता में एक नृशंस हत्याकांड हुआ था, जिसने पूरे देश को हिलाकर रख दिया, लेकिन कांग्रेस और सपा के नेताओं ने वहां जाकर घटनास्थल पर कोई बयान क्यों नहीं दिया? डॉ. सिंह ने यह भी सवाल किया कि जब कानपुर में जुमे की नमाज के बाद पत्थरबाजी की घटना हुई थी, तब इन नेताओं ने क्यों शांति की अपील नहीं की?

सपा और कांग्रेस पर हमला करते हुए डॉ. सिंह ने कहा कि ये दल विदेशी धरती पर अपने देश को अपशब्द कहने से भी नहीं हिचकते हैं, लेकिन जब अपने देश में हिंदुओं पर अत्याचार हो रहे हैं तो उनकी संवेदनाएँ गायब हो जाती हैं। डॉ. सिंह ने जोर देकर कहा कि इन पार्टियों का सेक्युलरिज्म सिर्फ और सिर्फ हिंदू विरोधी है। उनके अनुसार, इन पार्टियों का ध्यान सिर्फ अपने वोट बैंक पर है, और वे केवल वोट हासिल करने के लिए हिंदू विरोधी राजनीति का सहारा ले रही हैं।

डॉ. सिंह ने बांग्लादेश में हिंदू संतों के खिलाफ बढ़ते उत्पीड़न पर भी अपनी चिंता व्यक्त की और कहा कि बांग्लादेश में अल्पसंख्यक हिंदुओं के खिलाफ जारी अत्याचार के बावजूद कांग्रेस और सपा का रवैया पूरी तरह से निराशाजनक है। उन्होंने कहा कि यह घटना न केवल भारत के लिए, बल्कि पूरी दुनिया के लिए चिंताजनक है, और भारत के सेक्युलरिज्म को खतरे में डालती है।

बता दें कि सरोजनीनगर से भाजपा विधायक डॉ. राजेश्वर सिंह बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रहे उत्पीड़न के विरोध में लगातार मुखर हैं। डॉ. सिंह ने भव्य जन आक्रोश यात्रा निकालने के साथ लगातार सोशल मीडिया के माध्यम से बांग्लादेशी अल्पसंख्यक हिन्दुओं के पक्ष में अपनी बात रखी है, सभी राजनीतिक – सामाजिक संगठनों को बांग्लादेशी हिन्दुओं के समर्थन में एकजुट होने का आह्वान भी किया है। डॉ. सिंह ने राजनीतिक और सामाजिक संगठनों से अपील की, कि वे बांग्लादेशी हिंदुओं के समर्थन में आवाज उठाएं और इस मुद्दे को अंतरराष्ट्रीय मंचों पर उठाएं।

विधायक ने कहा कि “बांग्लादेश में हिंदू संतों पर हो रहे अत्याचार को लेकर पूरी दुनिया की चुप्पी सवाल खड़ी करती है। कांग्रेस और सपा का यह दोहरा मापदंड देश के सेक्युलरिज्म पर सवाल उठाता है।”

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