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दिव्यांगजन सशक्तिकरण कार्यक्रम: विधायक डॉ. राजेश्वर सिंह की प्रेरणादायक भागीदारी और महत्वपूर्ण पहल

दिव्यांगजन सशक्तिकरण कार्यक्रम: विधायक डॉ. राजेश्वर सिंह की प्रेरणादायक भागीदारी और महत्वपूर्ण पहल
  • सरोजनीनगर में @CRC_Lucknow द्वारा आयोजित दिव्यांगजन सशक्तिकरण कार्यक्रम में सहायक उपकरण वितरण और मेधावी बच्चों को सम्मानित किया गया।
  • भाजपा विधायक डॉ. राजेश्वर सिंह ने दिव्यांगजन सशक्तिकरण के लिए समाज में जागरूकता बढ़ाने की अपनी प्रतिबद्धता जाहिर की।
  • प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा “विकलांग” शब्द को बदलकर “दिव्यांग” किया गया, जिससे दिव्यांगजनों की दिव्यता और क्षमता को सम्मान मिला।
  • उत्तर प्रदेश में दिव्यांगजन पेंशन ₹300 से बढ़ाकर ₹1000 की गई, और दिव्यांगजन कल्याण के लिए ₹1170 करोड़ का बजट आवंटित किया गया।
  • सरोजनीनगर में ₹60 लाख से अधिक के सहायक उपकरण वितरित किए गए, जिससे 1000 से अधिक दिव्यांगजनों को जीवन में सहायता मिली।

लखनऊ (सरोजनीनगर), 03 दिसम्बर 2024: मंगलवार को सरोजनीनगर में @CRC_Lucknow द्वारा आयोजित दिव्यांगजन सशक्तिकरण कार्यक्रम एक अत्यंत प्रेरणादायक और हर्षित अनुभव था। इस आयोजन का उद्देश्य दिव्यांगजनों को उनके अधिकार और आत्मनिर्भरता की दिशा में मदद देना था, और कार्यक्रम में भाग लेने वाले सभी लोग इस उद्देश्य को लेकर एकजुट थे। दिव्यांगजनों के लिए यह आयोजन उनके संघर्ष, दृढ़ इच्छाशक्ति और समाज में योगदान को मान्यता देने का एक अद्वितीय अवसर था। कार्यक्रम के दौरान बच्चों द्वारा प्रस्तुत किए गए सांस्कृतिक कार्यक्रम और उनकी आत्मविश्वास से भरी मुस्कान ने सबको प्रेरित किया। उनका हौसला और जज़्बा यह दर्शाता है कि दिव्यांगजन अपने भीतर अद्वितीय क्षमता रखते हैं और किसी भी दीवार को सीढ़ी में बदलने की काबिलियत रखते हैं।

कार्यक्रम की मुख्य विशेषताएँ

इस कार्यक्रम के दौरान दिव्यांगजन लाभार्थियों को सहायक उपकरण प्रदान किए गए, जो उनके दैनिक जीवन को सरल और सुगम बनाने के लिए आवश्यक थे। इसके साथ ही, उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले मेधावी बच्चों को सम्मानित किया गया। इन बच्चों की मेहनत और कड़ी संघर्ष ने उन्हें सफलता की नई ऊँचाइयों तक पहुँचाया, और इस सम्मान ने उनके आत्मविश्वास को और भी मजबूत किया। इन प्रयासों ने दिव्यांगजनों को यह विश्वास दिलाया कि वे समाज का अभिन्न हिस्सा हैं और उनके प्रयासों की सराहना की जाती है।

डॉ. राजेश्वर सिंह की भागीदारी: समाज के प्रति संवेदनशीलता

इस कार्यक्रम में लखनऊ की सरोजनीनगर विधानसभा से जनप्रिय भाजपा विधायक डॉ. राजेश्वर सिंह की भागीदारी ने कार्यक्रम को और भी प्रभावशाली बना दिया। डॉ. सिंह का राजनीतिक करियर उनकी कार्यशैली और समाज के प्रति उनकी संवेदनशीलता को दर्शाता है। उन्होंने दिव्यांगजनों, वृद्धजनों, और समाज के कमजोर वर्गों के उत्थान के लिए कई पहल की हैं। उनके प्रयासों से न केवल सरोजनीनगर बल्कि पूरे प्रदेश में एक सकारात्मक बदलाव आया है।

डॉ. राजेश्वर सिंह का मानना है कि दिव्यांगजन केवल शारीरिक रूप से सक्षम नहीं होते, बल्कि उनकी मानसिक और आत्मविश्वास की शक्ति भी उन्हें समाज में विशेष स्थान दिलाती है। दिव्यांगजन को सशक्त बनाने के लिए डॉ. सिंह ने हमेशा समाज में जागरूकता पैदा करने की कोशिश की है, और उनकी उपस्थिति इस कार्यक्रम में यह स्पष्ट रूप से दर्शाती है कि वह इस दिशा में निरंतर काम कर रहे हैं। उनके नेतृत्व में सरोजनीनगर क्षेत्र में दिव्यांगजन कल्याण की दिशा में कई महत्वपूर्ण कदम उठाए गए हैं।

दिव्यांगजन सशक्तिकरण के लिए डॉ. राजेश्वर सिंह की महत्वपूर्ण योजनाएँ

कार्यक्रम के दौरान डॉ. सिंह ने कहा कि दिव्यांगजन सशक्तिकरण के लिए मेरा लक्ष्य व प्रयास इस प्रकार हैं:

  • Social Security Cover: पेंशन में वृद्धि, पूर्ण और सुलभ छात्रवृत्ति, आसान रजिस्ट्रेशन और विभिन्न सरकारी योजनाओं में कंसेशन प्रदान करना।
  • Improved Health Facilities: दिव्यांगजनों के लिए बेहतर चिकित्सा सेवाएं और physiotherapy centers की उपलब्धता सुनिश्चित करना।
  • Better Employment Opportunities: दिव्यांगजनों के लिए Skill Development कार्यक्रमों के माध्यम से नए रोजगार के अवसर पैदा करना, ताकि वे आत्मनिर्भर बन सकें।

सरोजनीनगर में ₹60 लाख के सहायक उपकरण वितरण

कार्यक्रम के दौरान सरोजनीनगर में ₹60 लाख से अधिक के सहायक उपकरण वितरित किए गए, जिससे 1000 से अधिक दिव्यांग भाई-बहनों को उनके जीवन को सुगम बनाने में मदद मिली। इन उपकरणों से दिव्यांगजनों को अपने दैनिक कार्यों को आसान बनाने में मदद मिल रही है, जिससे उनकी आत्मनिर्भरता में वृद्धि हो रही है। इस पहल के तहत दिव्यांगजनों को न केवल भौतिक सहायता मिल रही है, बल्कि यह उन्हें मानसिक और भावनात्मक रूप से भी सशक्त बना रहा है।

प्रधानमंत्री मोदी और उत्तर प्रदेश सरकार की पहल

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिव्यांगजनों के प्रति अपनी संवेदनशीलता को दर्शाते हुए “विकलांग” शब्द को बदलकर “दिव्यांग” शब्द को अपनाया, जिससे उनकी दिव्यता और क्षमता को सम्मान मिला। इस कदम ने समाज में दिव्यांगजनों को लेकर सकारात्मक सोच को बढ़ावा दिया। प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में RPWD एक्ट, 2016 के माध्यम से दिव्यांगजन सशक्तिकरण के लिए ऐतिहासिक कदम उठाए गए हैं। इसमें Disabilities की श्रेणियों को 7 से बढ़ाकर 21 किया गया है, और शिक्षा में 5% और नौकरियों में 4% आरक्षण सुनिश्चित किया गया है। इसके अलावा, Accessible India Campaign के तहत सार्वजनिक स्थलों और परिवहन को दिव्यांगजनों के लिए सुगम बनाने का अभूतपूर्व कार्य किया गया है।

उत्तर प्रदेश में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में दिव्यांगजन पेंशन को ₹300 से बढ़ाकर ₹1000 किया गया है। इसके साथ ही 3.05 लाख सहायक उपकरण और 8000 मोटराइज्ड ट्राइसाइकिल्स वितरित की गई हैं। सरकार ने दिव्यांगजन कल्याण के लिए ₹1170 करोड़ का बजट आवंटित किया है, जो दिव्यांगजनों के सशक्तिकरण के प्रति सरकार की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।

समाज में जागरूकता और सम्मान की आवश्यकता

समाज में दिव्यांगजनों के प्रति जागरूकता और सम्मान बढ़ाना हमारी प्राथमिकता है। इस दिशा में किए गए प्रयासों से दिव्यांगजन न केवल अपनी पहचान बना रहे हैं, बल्कि समाज में अपने अधिकारों के प्रति जागरूक हो रहे हैं। मेरी पूरी कोशिश यही है कि हर दिव्यांगजन को समान अवसर और सम्मान मिले, और उनके जीवन को आसान बनाने के लिए निरंतर प्रयास किए जाएं।

दिव्यांगजन सशक्तिकरण की दिशा में उठाए गए कदम समाज में सकारात्मक बदलाव लाने की ओर अग्रसर हैं। इस तरह के कार्यक्रम और पहलों से दिव्यांगजन न केवल अपने अधिकारों के प्रति जागरूक हो रहे हैं, बल्कि उन्हें आत्मनिर्भर बनने के लिए प्रेरित भी किया जा रहा है। इस दिशा में किए गए कार्य निश्चित रूप से हमारे समाज को समृद्ध और समावेशी बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण योगदान देंगे।

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