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यूपी के कौशाम्बी में अवैध खनन पर बड़ा एक्शन: योगी सरकार ने खनन माफिया के चहेते डीएम को हटाया, खनिज अधिकारी अभी भी मलाई काट रहा

  • बीती 15 मई से जनपद के महेवाघाट थानांतर्गत रामनगर घाट में हो रहे अवैध खनन की खबर “स्वदेश” में प्रमुखता से प्रकाशित हुई थी
  • ⁠सोशल मीडिया में भी एनजीटी के मानकों के विरुद्ध अवैध खनन के कई वीडियो वायरल होने के बावजूद नहीं हुई थी संतोषजनक कार्रवाई

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लखनऊ: लोकसभा चुनाव के बाद उत्तर प्रदेश में आईपीएस अधिकारियों के बाद अब आईएएस अधिकारियों के तबादले भी किए गए हैं।मंगलवार को एक दर्जन से ज्यादा आईएएस अधिकारियों को इधर से उधर किया गया है। इसमें कई जिलों के जिलाधिकारी बदल दिए गए है। कौशाम्बी, मुरादाबाद, सीतापुर, लखीमपुर खीरी, सहारनपुर, कासगंज, बांदा व चित्रकूट समेत कई जिलों के डीएम बदल दिए गए है। इसी कड़ी में योगी सरकार की भ्रष्टाचार व भ्रष्टाचारियों के प्रति जीरो टॉलरेंस की नीति में पलीता लगा रहे जिलाधिकारी कौशाम्बी राजेश कुमार राय को भी मंगलवार शाम को हुए आईएएस अधिकारियों के तबादले में शंट करते हुए मधुसूदन हुकली को जिलाधिकारी कौशाम्बी बनाया गया है।

चुनाव से पहले हुई थी पोस्टिंग, डीएम पर अवैध खनन के कारण लगे गंभीर आरोपों के बाद हटाए गए

गौरलतब है कि बीती 15 मई से लगातार कौशाम्बी के महेवाघाट थानांतर्गत रामनगर/जमुनापुर बालू घाट में अनवरत चल रहे अवैध खनन में जनपद के खनिज अधिकारी अजीत कुमार पाण्डेय और डीएम राजेश कुमार राय द्वारा पट्टेधारक, घाट संचालकों व मुख्य रूप से घाट के खिलाफ किसी भी प्रकार की कोई कार्रवाई नहीं की। जिसकी खबर भी स्वदेश में समय-समय से प्रकाशित की गई। लेकिन जिला प्रशासन द्वारा कोई कड़ा एक्शन नहीं लिया गया उल्टा खनन माफिया ने स्वदेश के विशेष संवाददाता शिवसागर सिंह के ऊपर तमाम बेबुनियाद आरोप लगाते हुए फर्जी पत्रकार तक बोल डाला, लेकिन योगी सरकार की जीरो टॉलरेंस की नीति के तहत आखिरकार डीएम आ ही गए और आखिरकार लोकसभा चुनाव से ठीक पहले पोस्ट हुए डीएम राजेश कुमार राय को तमाम शिकायतों के मद्देनजर हटा दिया गया है।

भ्रष्ट खनिज अधिकारी को आखिर किसका संरक्षण

उत्तरप्रदेश के उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य के गृह जनपद कौशाम्बी में अवैध खनन का मामला न सिर्फ उत्तरप्रदेश बल्कि समूचे देश में इस समय चर्चा का विषय बना हुआ था। जिसको मद्देनजर रखते हुए मंगलवार को आई आईएएस अधिकारियों की तबादला सूची में डीएम कौशाम्बी को तो हटा दिया गया है लेकिन एक बड़ा सवाल अभी भी लोगों के दिलोदिमाग पर कौंध रहा है कि आखिर खनिज अधिकारी का कौन सा इतना बड़ा सिस्टम है जो खनन का मुख्य जिम्मेदार होने के बावजूद अपनी कुर्सी से हटने को तो छोड़िए, खिसकने तक को तैयार नहीं है। मामले पर जिला प्रशासन के सूत्रों से पता चला है कि अब नए साहब ही इनका चिट्ठा खोलेंगे और इनको सही जगह पहुंचाएंगे क्योंकि शायद ही उत्तरप्रदेश में इतना बड़ा भ्रष्टाचारी किसी भी जिले में तैनात हो।

आखिर कब होगी खनन माफिया, पट्टेधारक, घाट संचालकों समेत घाट पर वाजिब कार्रवाई

मंगलवार देर शाम हुए आईएएस अधिकारियों के तबादले में भ्रष्ट जिलाधिकारी राजेश कुमार राय के तबादले के बाद लोगों में सुगबुगाहट तो शुरू हो गई है कि 15 मई से स्वदेश में लिखी गई अवैध खनन की खबर का असर तो अब दिखने लगा है लेकिन असली गुनहगारों के खिलाफ कार्रवाई कब होगी। खनन माफिया करवरिया बन्धुओं के प्रयागराज के तिलकनगर, अल्लापुर निवासी गुर्गे पट्टेधारक, घाट संचालक कपिल मुनि करवरिया के बेटे वैभव करवरिया व उसके गुर्गों के साथ साथ अन्य संचालकों पर कब होगी वाजिब कार्रवाई और साथ ही जिस घाट में इतने बड़े पैमाने पर अवैध खनन किया गया है उसके खिलाफ उचित कार्रवाई कब की जाएगी।
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