
- अंतर्राज्यीय अवैध कारतूस तस्करी गिरोह के सक्रिय सदस्य को बलिया रेलवे स्टेशन से पकड़ा गया
- उत्तर प्रदेश एसटीएफ ने बलिया रेलवे स्टेशन से 25,000 रुपये के इनामी अभियुक्त अंकित कुमार पांडेय को गिरफ्तार किया।
- अभियुक्त अंतर्राज्यीय अवैध कारतूस तस्करी गिरोह का सक्रिय सदस्य है।
- गिरफ्तार अभियुक्त ने बिहार के अपराधियों को 750 कारतूस बेचने की बात स्वीकार की।
- गिरोह के अन्य सदस्य शुभम सिंह और रोशन यादव के बारे में जानकारी जुटाई जा रही है।
- एसटीएफ ने अभियुक्त के खिलाफ आर्म्स एक्ट के तहत मामला दर्ज कर आगे की जांच शुरू की।

लखनऊ, 20 नवंबर 2024: उत्तर प्रदेश एसटीएफ (विशेष कार्य बल) ने 25,000 रुपये के इनामी अभियुक्त अंकित कुमार पांडेय को बलिया रेलवे स्टेशन से गिरफ्तार कर एक बड़ी सफलता हासिल की। गिरफ्तार अभियुक्त अंतर्राज्यीय स्तर पर अवैध कारतूस तस्करी करने वाले गिरोह का सक्रिय सदस्य है।
गिरफ्तारी से संबंधित प्रमुख विवरण:
- अभियुक्त का नाम: अंकित कुमार पांडेय।
- पिता का नाम: सुशील पांडेय।
- निवास स्थान: बाराचवर, थाना करीमुद्दीनपुर, जनपद गाजीपुर।
- गिरफ्तारी का स्थान: बलिया रेलवे स्टेशन, थाना क्षेत्र जीआरपी बलिया।
- गिरफ्तारी की तारीख: 20 नवंबर 2024।
- बरामदगी:
- 1 मोबाइल फोन।
- नगद 250 रुपये।
एसटीएफ की कार्रवाई:
एसटीएफ की फील्ड इकाई वाराणसी को सूचना मिली थी कि बलिया रेलवे स्टेशन पर एक वांछित अभियुक्त मौजूद है।
- सूचना के आधार पर कार्रवाई: निरीक्षक अनिल कुमार सिंह के नेतृत्व में एसटीएफ टीम ने मौके पर पहुंचकर अभियुक्त अंकित कुमार पांडेय को गिरफ्तार किया।
- अभियुक्त पर थाना जीआरपी बलिया में पंजीकृत मुकदमा संख्या 46/2024, धारा 3/25/111(3) आर्म्स एक्ट के तहत मामला दर्ज था।
तस्करी में शामिल गिरोह का विवरण:
गिरफ्तार अभियुक्त ने पूछताछ में स्वीकार किया कि वह पूर्वांचल और बिहार में सक्रिय अवैध कारतूस तस्करी गिरोह का हिस्सा है।
- गिरोह के संचालन का तरीका:
- अभियुक्त और उसका साथी रोशन यादव अवैध कारतूस खरीदकर बिहार के अपराधियों को ऊंचे दामों पर बेचते थे।
- तस्करी के लिए जौनपुर निवासी शुभम सिंह से कारतूस की आपूर्ति होती थी।
- पिछली गतिविधियां:
- 15 से 23 अक्टूबर 2024 के बीच अभियुक्त ने दो बार 750 कारतूस बिहार के अपराधियों को बेचे।
- 23 अक्टूबर को, कारतूस ले जाते समय रोशन यादव और अंकित ने अपनी महिला मित्र को कारतूस के साथ अलग बोगी में बैठाया था।
- चेकिंग के दौरान महिला मित्र को गिरफ्तार कर लिया गया, जबकि अभियुक्त और उसका साथी फरार हो गए।
गिरफ्तारी का महत्व और आगे की कार्यवाही:
- अभियुक्त पर 25,000 रुपये का इनाम घोषित था और वह पुलिस से लंबे समय से फरार चल रहा था।
- अभियुक्त को थाना जीआरपी बलिया में दाखिल कर दिया गया है, और आगे की विधिक कार्यवाही स्थानीय पुलिस द्वारा की जा रही है।
एसटीएफ की सफलता:
यह गिरफ्तारी एसटीएफ के लिए एक बड़ी उपलब्धि है, जिससे अंतर्राज्यीय स्तर पर सक्रिय अवैध हथियार तस्करी के नेटवर्क पर लगाम लगाने में मदद मिलेगी।
- पूर्वांचल क्षेत्र में गिरोह की सक्रियता: इस गिरफ्तारी से तस्करी के पूरे नेटवर्क की विस्तृत जांच का मार्ग प्रशस्त होगा।
- अपराध नियंत्रण में सहयोग: यह कार्रवाई राज्य में अवैध हथियारों और अपराध पर नियंत्रण के लिए महत्वपूर्ण साबित होगी।
एसटीएफ की इस कार्रवाई से न केवल अवैध कारतूस तस्करी के नेटवर्क पर बड़ा प्रहार हुआ है, बल्कि अपराधियों में पुलिस की कार्रवाई का भय भी उत्पन्न हुआ है। इस मामले की आगे की जांच और नेटवर्क से जुड़े अन्य सदस्यों की गिरफ्तारी से पूर्वांचल और बिहार में अपराध नियंत्रण के प्रयासों को और मजबूती मिलेगी।